खराब सड़क के चलते हुआ एक्सीडेंट तो अधिकारी होंगे जिम्मेदार! जानें नितिन गडकरी का प्लान
भारत में हर साल लाखों लोग सड़क दुर्घटना में मारे जाते हैं। बहुत बार गलती चालक की होती है तो कई बार खराब सड़क इंजीनियरिंग के कारण भी सड़क दुर्घटनाएं होती हैं। ऐसी ही एक घटना हाल ही में नजर आई, जिसमें सेवलाइफ फाउंडेशन के सीईओ ने बताया कि खराब ब्रिज के डिजाइन और सीट बेल्ट नहीं लगाने की वजह से टाटा के पूर्व CEO साइरस मिस्त्री की सड़क दुर्घटना में मौत हुई।
इस कमी को दूर करने के लिए परिवहन विभाग ने तेजी से नए नियमों को लाना शुरू कर दिया है। पीछे की सीट पर सीट बेल्ट को लगाना तो पहले ही अनिवार्य कर दिया गया था। अब भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) खराब सड़क इंजीनियरिंग कार्यों पर लगाम लगाने की तैयारी कर रही है। NHAI के मुताबिक, खराब सड़क इंजीनियरिंग से होने वाली किसी भी गंभीर दुर्घटनाओं के लिए अधिकारियों को उत्तरदायी ठहराया जाएगा।
NHAI ने अपने सर्कुलर में कहा है कि NHAI/IE/AE के कुछ प्रतिनिधि अपना काम ईमानदारी से नहीं कर रहे हैं और बिना काम पूरा हुए ही प्रोविजनल सर्टिफिकेट जारी कर दे रहे हैं। केवल रोड मार्किंग, रोड साइनेज और क्रैश बैरियर के अंतिम उपचार जैसे सुरक्षा फीचर्स को देखते हुए इन सर्टिफिकेट्स को जारी किया जा रहा है। इस वजह से इन सड़कों पर चलने वाले लोगों की सुरक्षा से तो समझौता हो ही रहा है। साथ ही NHAI का नाम भी खराब हो रहा है। इस कारण NHAI ने इस बात को गंभीरता से लिया है।
पंच लिस्ट के तहत बनाए गए नए नियम में राजमार्ग पर सड़क सुरक्षा कार्य के सभी कामों को पूरा होने के बाद ही प्रोविजनल सर्टिफिकेट जारी किया जा सकता है। साथ ही अगर ये सर्टिफिकेट जारी कर दिया गया और उसके बाद सड़क इंजीनियरिंग में कमी पाई गई तो क्षेत्रीय अधिकारी, परियोजना निदेशक और इंजीनियर होने वाली गंभीर दुर्घटनाओं के लिए उत्तरदायी होंगे।
बता दें कि हाल ही में, केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने भारत में होने वाली कुछ सड़क दुर्घटनाओं को दोषपूर्ण परियोजना रिपोर्टों के लिए जिम्मेदार ठहराया और कहा कि राजमार्गों और अन्य सड़कों के निर्माण के लिए रिपोर्ट तैयार करने के लिए कंपनियों को उचित ट्रेनिंग की जरूरत है।