पटना के सौंदर्यीकरण और विकास के लिए पटना स्मार्ट सिटी लिमिटेड द्वारा कई परियोजनाओं पर काम किया जा रहा है. इसमें अब एक ओर प्रोजेक्ट जुड़ गया है. जिसके तहत शहर में गंगा नदी के तट पर सभ्यता द्वार के पास एक जायंट व्हील (गोलाकार चक्र) का निर्माण होगा. यह चक्र लंदन में थेम्स नदी के किनारे बने फेमस ‘लंदन आई या मिलेनियम व्हील’ के तर्ज पर बनेगा. बीते दिनों पटना स्मार्ट सिटी लिमिटेड की बोर्ड की हुई बैठक में इसका प्रस्ताव लाया गया और इसे मंजूरी भी दे दी गई. इस जायंट व्हील का नाम ‘पटना आई’ रखने का निर्णय लिया गया है.
जून 2024 तक निर्माण पूरा करने का लक्ष्य
पटना में वैसे तो कई ऐतिहासिक और खूबसूरत जगह है, जो इस शहर की पहचान बनी हुई है. इसी लिस्ट में अब इस जायंट व्हील का भी नाम जुड़ जाएगा. इस व्हील की ऊंचाई 40 मीटर (लगभग 131 फीट) होगी. इस फेरिस व्हील का निर्माण जून 2024 तक पूरा कर दिया जाएगा और इस प्रोजेक्ट करीब 47 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे. यह प्रोजेक्ट पटना के गंगा रिवरफ्रंट परियोजना का हिस्सा होगा. इसके निर्माण की जिम्मेदारी पटना स्मार्ट सिटी लिमिटेड ने बिहार राज्य रोड विकास निगम लिमिटेड को दी है.
1.5 मीटर प्रति सेकंड की रफ्तार से घूमेगा व्हील
गंगा नदी के किनारे सभ्यता द्वार के पास बनने वाले इस जायंट व्हील (पटना आई) से पटना शहर का काफी खूबसूरत नजारा देखने को मिलेगा. सभ्यता द्वारा के पास इसका निर्माण होने की वजह से इसके एक तरफ उफान मारती गंगा नदी देखी जा सकेगी तो दूसरी ओर शहर का ऐतिहासिक गांधी मैदान एवं अन्य इमारतें. इस फेरिस व्हील में कुल 20 बॉक्स होंगे जिसमें एक साथ 160 लोग बैठ सकेंगे और यह 60 डिग्री घूमेगा. 1.5 मीटर प्रति सेकंड की रफ्तार से घूमने वाले इस व्हील के एक बॉक्स में आठ व्यक्ति बैठ सकेंगे. इस व्हील को एक चक्कर लगाने में करीब आधे घंटे का वक्त लगेगा. इस दौरान लोग पटना शहर की खूबसूरती का दीदार ऊंचाई से कर सकेंगे. पटना समार्ट सिटी के क्षेत्र आधारित विकास एरिया में इसका निर्माण कराया जा रहा है. अभी पटना में सबसे ऊंचा बिस्कोमान भवन है. इस भवन की ऊंचाई करीब 71 मीटर है.
दुनिया के सबसे ऊंचे फेरिस व्हील
गंगा तट को रिवरफ्रंट परियोजना के तहत किया गया विकसित
गंगा रिवरफ्रंट परियोजना के तहत पटना शहर में 5.7 किमी की लंबाई में 16 घाटों के किनारे 15 फुट चौड़ा पैदल पथ (सैरगाह) विकसित किया गया है. इसके अगल-बगल सजावटी स्ट्रीट लैंप, सार्वजनिक शौचालय, बड़ी संख्या में लोगों के बैठने के लिए बेंच और ग्रीन कवर की सुविधाएं दी गयी है. इस सुंदर सैरगाह पर लोग घूमते हैं, योग करते हैं. पटना विवि के छात्र यहां पर आराम और अध्ययन करने पहुंचते हैं. इसे सांस्कृतिक केंद्र के रूप में विकसित करने के लिए डॉल्फिन सूचना केंद्र का प्रावधान किया गया. यह क्षेत्र लोगों को सीवेज रोकने सहित पर्यावरण को स्वच्छ रखने के प्रति जागरूकता फैलाने का भी काम करता है.
पटना स्मार्ट सिटी के तहत चल रही परियोजना
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