कॉलर पकड़ा, गाली दी; मुंगेर के अस्पताल में डॉक्टर से भिड़े बीजेपी विधायक, इस बात पर मचा बवाल
मरीज की शिकायत पर रविवार को मुंगेर जिले के सदर अस्पताल पहुंचे भाजपा विधायक प्रणव कुमार एक डॉक्टर से उलझ गए। दोनों के बीच लंबी कहासुनी हुई। इमरजेंसी वार्ड में आधा घंटा हंगामे का आलम रहा। डॉक्टर कुमार सानू का आरोप है कि विधायक ने अपशब्द कहे, कॉलर पकड़ा और उनके बॉडीगार्ड ने धक्का देकर गिरा दिया।
हालांकि विधायक ने आरोपों को खारिज किया है। उन्होंने कहा, न डॉक्टर की कॉलर पकड़ी न बॉडीगार्ड ने धक्का दिया। सीसीटीवी फुटेज देखा जा सकता है। विधायक बोले- डॉक्टर ने मुझे धमकी देते हुए वेट एंड वॉच कहा। इस पर मैंने कहा आप चिल्लाएं नहीं, बैठकर बात कीजिये। जनप्रतिनिधि से बात करने का यही तरीका है क्या? बहस के बीच सिविल सर्जन के मौके पर पहुंचने के बाद मामला शांत हुआ।
विधायक का आरोप
विधायक ने बताया कि आर्थिक रूप से कमजोर कुतलपुर निवासी 35 वर्षीय किशोर यादव बोन टीवी के मरीज हैं। उनको हायर सेंटर रेफर कर दिया गया। विधायक ने मोबाइल फोन पर डाक्टर से यह जानना चाहा कि बोन टीवी का बेहतर इलाज कहां होता है, यह बताया जाए। अगर गरीब का मुंगेर में ही इलाज संभव है तो इसकी जानकारी दी जाए। विधायक का आरोप है कि डाक्टर ने फोन पर कुछ नहीं बताया और कहा कि किसी विधायक या नेता को नहीं जानते हैं। मेरा चाचा खुद विधायक है। डाक्टर के इस तरह कहे जाने से आवेशित विधायक समर्थकों के साथ अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड शाम करीब 4 बजे पहुंचे। वहां बहस हो गई।
डॉक्टर का आरोप
डाक्टर कुमार सानू का कहना है कि इमरजेंसी में मरीजों की भीड़ रहती है। इलाज करेंगे कि विधायक या नेता की पैरवी सुनते रहेंगे। रविवार को एक मरीज के परिजन मैनिंजाइटिस विथ फोर स्पाइन की बीमारी से पीड़ित मरीज का पर्ची लेकर आए। यह कहते हुए कि सदर अस्पताल में न्यूरो सर्जन नहीं हैं, हायर सेंटर रेफर कर दिया गया। थोड़ी देर बाद परिजन फोन लेकर पहुंचे और बोले कि विधायक जी से बात कीजिए। उन्होंने फोन पर किसी से बात करने से इंकार कर दिया। इसके बाद विधायक समर्थकों के साथ पहुंचे और नाम पूछने लगे। नाम नहीं बताया तो गाली-गलौज करते हुए कहने लगे कि तुम्हारे खिलाफ पहले से भी बहुत शिकायत है।
वहीं इस मामले पर सिविल सर्जन डॉ. पीएम सहाय ने कहा कि इस मामले की जांच कराई जाएगी। इमरजेंसी में कार्यरत डाक्टर कुमार सानू का पक्ष सुना गया है। विधायक से भी मामले की जानकारी ली जाएगी। इसके बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी। अगर डाक्टर आवेदन देते हैं तो प्राथमिकी दर्ज कराई जाएगी।
मुंगेर एसएसपी जेजे रेड्डी ने बताया कि घटना के बाद अबतक न तो मुंगेर के विधायक ना ही डॉक्टर ने इस संबंध में पुलिस से कोई शिकायत या आवेदन दिया है। यदि इस संबंध में पुलिस को कोई पिटीशन प्राप्त होता है तो टाउन थाने की पुलिस इस मामले में पूछताछ और जरूरी अनुसंधान करेगी। इसके बाद जो दोषी पाया जायेगा उसके विरुद्ध कानून की समुचित धाराओं के तहत कार्रवाई की जायेगी।