समस्तीपुर :- समस्तीपुर पुलिस ने फर्जी दस्तावेज के आधार पर अपराधियों को मोबाइल सिम निर्गत कराने वाले व हथियारों की सप्लाई करने वाले गिरोह का भंडाफोड़ करते हुए तीन बदमाशों को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने उनके पास से कई फर्जी आधार व वोटर कार्ड, कंप्यूटर, प्रिंटर एवं एक देसी पिस्तौल व दो जिंदा गोली बरामद किया है। पुलिस के अनुसार इन लोगों ने फर्जी पहचान पत्र के आधार पर कुल 20 मोबाइल सिम निकाले हैं, जिनका जिले में घटित हुए विभिन्न कांडों में उपयोग किया गया है। पुलिस का दावा है कि वे लोग हथियार की सप्लाई भी किया करते थे।
बुधवार को एसपी विनय तिवारी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान बताया कि मिली गुप्त सूचना के आधार पर पुलिस टीम के द्वारा पूसा थाना क्षेत्र के जगदीशपुर से हिमांशु राय के पुत्र मयूरेश कुमार उर्फ लक्की को एक देसी पिस्तौल व दिघरा से उसके सहयोगी संजय शर्मा के पुत्र निशांत उर्फ विरू को दो जिंदा गोली के साथ गिरफ्तार किया। पुलिस के अनुसार आर्म्स सप्लायर बताए जा रहे मयूरेश कुमार उर्फ लक्की ने पुलिस के द्वारा की गई पूछताछ में अवैध हथियार और गोली की खरीद-बिक्री में अपनी संलिप्तता स्वीकार की है।
वहीं, उसने बताया कि वह लोग फर्जी वोटर आईडी व फर्जी आधार कार्ड तैयार कर अपराधियों को अवैध रूप से मोबाइल से मुहैया कराने का काम किया करते थे। लक्की ने पुलिस को अपने कई साथियों के नाम भी बताए हैं। पुलिस के अनुसार लक्की ने बताया है कि जिले के कल्याणपुर थाना क्षेत्र के परतापुर निवासी अब्दुल समद के पुत्र मो० इसलाम के साथ मिलकर हथियार का कारोबार और फर्जी सिम के लेन-देन किया करता था और कुछ दिनों पूर्व ही मो. इस्लाम ने उसे 15 फर्जी सिम मुहैया कराया था। जिसे उसके द्वारा स्थानीय अपराधियों को उपलब्ध करा दिया गया।
लक्की के अनुसार पूसा थाना क्षेत्र के गढ़िया चौक स्थित दक्षिण बिहार ग्रामीण बैंक के नीचे मनोज कुमार उर्फ मंजय के प्रिंटिंग दुकान से उसने कई बार फर्जी वोटर आईडी कार्ड बनवाया है। लक्की की ही निशानदेही पर पुलिस टीम ने पूसा थाना क्षेत्र के हरपुर निवासी मधु राय के पुत्र मनोज कुमार उर्फ मंजय को गिरफ्तार किया। उसके पास से निशांत उर्फ वीरू की तस्वीर लगी हुई फर्जी वोटर आईडी कार्ड और रामजी साह के पुत्र मंटुन साह के नाम पर तैयार फर्जी आधार कार्ड बरामद किया गया है।
पुलिस के अनुसार पूछताछ में मंजय ने बताया है कि लक्की और वीरू के कहने पर उसने राकेश साह के नाम से एवं अरुण यादव के नाम से दो फर्जी आईडी कार्ड बनाया था। प्रेस कांफ्रेंस के बाद सभी आरोपियों को जेल भेज दिया गया है।
एसपी ने बताया कि इस गिरोह में लक्की का महत्वपूर्ण रोल था। वह वीरू के साथ मिलकर सहायता समूह गिरोह के सदस्यों का आधार नंबर प्राप्त करता था। उस आधार नंबर के आधार पर फर्जी आधार कार्ड बनाकर उस आधार कार्ड पर मोबाइल सिम उपलब्ध कराते हुए बदमाशों को मुहैया कराता था। जो बदमाश इसका उपयोग अपराधिक घटनाओं में करते थे।
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